देखिये ये जुगाड़ कैसे घरों में उजाला ला सकते हैं

टर्बोलेंट -आज भी कई देश ऐसे हैं पूरी दुनिया में जहाँ पानी की प्रचुर मात्रा उपलब्ध है और जहां पारम्परिक तरीके से नदी का पानी रोक कर डेम बनाकर बिजली तैयार की जाती है मगर छोटी नदियों और नहरों से भी बिजली बनाई जा सकती है वह बेहद कम लोगों ने ही सोचा होगा एक आम इंसान के दिमाग से यह उपाय जिसने बिजली उत्पन करने वाले जैसे काम को सभी के लिए बेहद आसान बना दिया है, दरसल इस कमाल के तरीके ने छोटी नदी नहरों के साथ एक पतली नाली बिलकुल साथ में ही बनाई जाती है और जिसका आकारकुछ इस प्रकार रखा जाता है की अगर इससे पानी प्रवाहित हो तो वह सांकरवास्ता होने के कारण पानी की गति तो बढ़ा ही दे साथ ही साथ वह पानी को गोल भी घुमा दे और जब ऐसा सम्भव् हुआ तो वहां उस जगह पर एक छोटा टरबाइन लगा दिया गया बिजली उत्पन करने के लिए जिसके फलस्वरूप यह हुआ की जब भी पानी इस नाली से गुजरे तो वह टरबाइन पानी के तेज बहाव के कारण स्वयं ही घूमने लगता है और जो की पर्याप्त होता है बिजली को उस टरबाइन से तैयार करने में इस खास सिद्धांत को अब बड़े रूप में भी बड़ी -बड़ी नदियां बहते पानी के सहारे लगाया जा रहा है और वह काफी उपयोगी भी साबित हो रहा है
आम लोगों के लिए।ब्लू फ्रीडम – इस कमाल के छोटे से गैजेट की कार्यशैली आपको वाकई में हैरान करने वाली है दरसल यह छोटा सा विचित्र सा दिखने वाला यंत्र तैयार करने का बेहद छोटा टर्माइन है इस कमाल के गैजेट को इस्तेमाल करने के लिए इसके गोल घूमने वाले भाग को इस मुख्य गैजेट के साथ एक तार के माध्यम से फिक्स कर दिया जाता है। इसके बाद इसे वहां स्थापित कर दिया जाता है जहाँ पानी का थोड़ा सा भी बहता हुआ स्त्रोत उपलब्ध है, जिसके बाद उस पानी के बहाव से यह नीला घुमावदार साँचा पानी में गोल -गोल घूमने लगता है जिससे की उसमे लगा एक छोटा सा टरबाइन भी घूमने लगता है उत्पन बिजली को इस गैजेट के मुख्य भाग में ‘पावरबैंक’ के रूप में एकत्रित कर लिया जाता है और आप इसके बाद आप इस गैजेट में एकत्रित बिजली से अपना फ़ोन चार्ज कर सकते हैं, हालाँकि यह बड़े रूप में बिजली उत्पन नहीं करता मगर इतने छोटे से गैजेट से अगर फ़ोन चार्ज करने लायक बिजली उत्पन होती है तो वह भी पर्याप्त है उस संकट की घडी में जब आप ऐसी जगह में हो जहाँ बिजली का कोई स्त्रोत ही उपलब्ध न हो। यह कमाल का गैजेट स्व्भाविक है की अभी लोगों के द्वारा इसे इतना अधिक इस्तेमाल नहीं किया जा रहा मगर इस प्रकार के अविष्कार से यह विश्वास यह जरूर जगा है की भविष्य में जरुरत पड़ने पर आप कभी भी अपनी मर्जी मुताबित बड़ी ही सरलता से बिजली उत्पन कर पाएंगे।
इन्वोर्ल्ड हाइड्रो पावर – नदी के भाव से ही बिजली पैदा करने वाले सिद्धांत पर ही काम करने वाली इस तकनीक में भी नदी के किनारे बड़ी बड़ी नालियां बना ली जाती हैं जिसके कारण रास्ता संकरा होने की वजह से पानी का बहाव तेज हो जाता है और थी उसी जगह पर टरबाइन को फिटकर दिया जाता है जिसके बाद इसके फलस्वरूप पानी के तेज बहाव के कारण टरबाइन जोर जोर से घूमने लगता है और छोटे स्तर पर ही सही पर्याप्त मात्रा में बिजली उत्पन कर ली जाती है इस कमाल की तकनीक की सहायता से।वोइट – समुंदर से बिजली उत्पन के लिए अभी तक अनेको बड़े से बड़े और काम लागत वाले हर प्रकार के अविष्कार हो चुके है उन्ही में से एक खास अविष्कार कुछ इस प्रकार का भी है समुन्दर के पानी में निरंतर लहरों उथल-पुथल और उसके लगातार तट से लगातार तट से टकराते रहने का सहारा लेकर कुछ के बिजली उत्पन्न करने वाले अविष्कार को जन्म देने का विचार उत्पन हुआ समुन्दर की लहरों से बिजली उत्पन करने के लिए सबसे पहले तट पर कॉन्क्रीट का एक बेहद ठोस खोखला ढांचा तैयार किया जाता है इसके ठीक निचे से पानी की लहरें अंदर आती रहती हैं जब भी समुन्दर की तेज गुफान मारती लहरें इस ढांचे की सिरे से अंदर जाती हैं तो अत्याधिक हवा का दवाब बन जाता है जिसे बिजली के रूप में बदलने के लिए इसके ठीक ऊपर की तरफ एक टरबाइन को फिक्स कर दिया जाता है जिसके कारण जब भी समुन्दर की लहरों से हवा का दवाब बनता है तो यह टरबाइन को जोर-जोर से घूमने लगता है जिसके फलस्वरूप बिजली उत्पन होने लगती है। एक आम इंसान के दिमाग से उपजा यह उपाय देखने में बेहद सरल तो है ही साथ ही साथ इसके रख रखाव के लिए खर्च भी बेहद कम आता है, इस प्रकार के अनेकों लाइट हाउस ऐसे हैं जिनमे बिजली की सप्लाइ के लिए कुछ इसी प्रकार के सिद्धांत की सहायता ली जाती है और समुंदरी जहाजों को रास्ता ढूंढने में मदद की जाती है।
एंड्रिट्ज हाइड्रो टरबाइन -पानी के बहाव से ही बिजली उत्पन्न करने वाले इस तरीके में भी पानी की तेज धारा का होना बेहद आवश्यक होता है तो ऐसे में इस प्रकार के बिजली के प्लांट उस जगह स्थापित किये जाते हैं जहाँ पानी बेहद ऊँची जगह से प्रवाहित हो रहा हो यह होता है जिससे सबसे बड़ा फायदा यह होता है की जिनजगहों पर डेम बनाकर बिजली तैयार करना सम्भव नहीं होता तो उन जगहों पर कुछ इस प्रकार पाइप के माध्यम से तेज पानी के भाव को टरबाइन तक पहुंचाया जाता है जिसके कारण टरबाइन को पर्याप्त बल मिल जाता है घूमने के लिए उत्पन होने लग जाती है जिसे बाद में अनेको घरों को इस्तेमाल में लाया जाता है।